फॉर्म 16 क्या होता है ? और इससे जुड़े इम्पोर्टेन्ट रूल्स

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what is form 16 in hindi

what is form 16 in hindi – फॉर्म 16 क्या होता है ?

फॉर्म 16 एक टीडीएस सर्टिफिकेट होता है, जो कि किसी कंपनी या एम्प्लायर द्वारा अपने कर्मचारियों को जारी किया जाता है। एम्प्लायर द्वारा एम्प्लोयी को सैलरी पर टीडीएस काटने के केस में हर साल फॉर्म 16 दिया जाता है।

फॉर्म 16 इस बात का सबूत होता है, कि एम्प्लायर द्धारा एम्प्लोयी का टीडीएस काट लिया गया है और इसे सरकार को भी जमा करवा दिया गया है। form 16 में काटे गए टीडीएस और सरकार को जमा करवाए गए टीडीएस की quarterly डिटेल्स होती है।

एम्प्लोयी के लिए फॉर्म 16 एक टीडीएस सर्टिफिकेट्स होता है, जिसमे दी गयी डिटेल्स को इनकम टैक्स रिटर्न फाइलिंग के दौरान एम्प्लोयी द्वारा यूज़ में ली जाती है। इसे इनकम टैक्स रिटर्न फाइलिंग के समय यूज़ होने वाला इम्पोर्टेन्ट डाक्यूमेंट्स भी माना जाता है।

इसीलिए अगर आप एक सैलरीड एम्प्लोयी है और अपनी इनकम टैक्स रिटर्न फाइल कर रहे है, तो फॉर्म 16 की डिटेल्स को जरूर चेक करे, क्योकि फॉर्म 16 और आपकी रिटर्न में बताई इनफार्मेशन में अंतर होता है, तो आपके पास इनकम टैक्स डिपार्टमेंट से नोटिस आने की आशंका बनी रह सकती है।

साथ ही आपकी रिटर्न के डिफेक्टिव होने के चांस भी बने रहते है।

हालाँकि, अगर आपकी फॉर्म 16 में बताई गयी इनकम या डिडक्शन के अलावा भी कोई इनकम या डिडक्शन है, तो उनको आप अपनी इनकम टैक्स रिटर्न में दिखा सकते है।

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फॉर्म 16 कब और क्यों जारी किया जाता है ?

फॉर्म 16 एक टीडीएस डॉक्यूमेंट या सर्टिफिकेट होता है, जो कि इनकम टैक्स एक्ट 1961 के सेक्शन 203 के हिसाब से जारी किया जाता है।

एम्प्लायर द्धारा एम्प्लोयी को सैलरी का पेमेंट किया जाता है और एम्प्लोयी की सैलरी basic exemption limit से ज्यादा है, तो एम्प्लायर को सैलरी के पेमेंट से पहले टीडीएस काटना होगा और बैलेंस सैलरी का पेमेंट एम्प्लोयी को करना होगा।

अगर एम्प्लायर टीडीएस नहीं काटता या काटने के बाद इसे सरकार को जमा नहीं करवाता या एम्प्लोयी को टीडीएस सर्टिफिकेट के रूप में फॉर्म 16 जारी नहीं करता है, तो एम्प्लायर के ऊपर इंटरेस्ट और पेनल्टी लगायी जाएगी।

Form 16 को साल में एक बार जारी किया जाता है। एम्प्लायर द्धारा फाइनेंसियल ईयर के समाप्त होने के बाद 15 जून तक इसे जारी करना अनिवार्य होता है।

नोट – फाइनेंसियल ईयर 2020-21 के लिए फॉर्म 16 को जारी करने की लास्ट डेट 31 जुलाई 2021 थी ।

सैलरी पर टीडीएस एवरेज इनकम टैक्स रेट पर काटा जाता है, इसके बारे में अधिक जानने के लिए आप सैलरी पर टीडीएस कैलकुलेशन देख सकते है।

एम्प्लायर द्धारा फॉर्म 16 कैसे डाउनलोड किया जा सकता है ?

एम्प्लोयी द्वारा फॉर्म 16 को ऑनलाइन डाउनलोड नहीं किया जा सकता है। सिर्फ एम्प्लायर ही फॉर्म 16 को डाउनलोड कर सकता है और एम्प्लोयी को इसे जारी कर सकता है। एम्प्लायर द्धारा टीडीएस पोर्टल से अपनी लॉगिन आई डी और पासवर्ड से इसे डाउनलोड किया जा सकता है।

हालाँकि, एम्प्लायर को फॉर्म 16 जारी करने से पहले इसमें दी गयी डिटेल्स को बारीकी से चेक करना चाहिये।

अगर एम्प्लोयी किसी फाइनेंसियल ईयर में जॉब चेंज करता है, तो भी वह अपने पुराने एम्प्लायर से फॉर्म 16 मांग सकता है और यदि एम्प्लोयी का फॉर्म 16 गुम हो जाता है, तो एम्प्लायर से इसकी डुप्लीकेट कॉपी के लिए भी आवेदन कर सकता है।

क्या सभी एम्प्लाइज को फॉर्म 16 जारी किया जाता है ?

फॉर्म 16 एक टीडीएस सर्टिफिकेट होता है, जो की सैलरी पर टीडीएस काटने के केस में जारी किया जाता है, यानि कि जिन एम्प्लाइज का सैलरी पर टीडीएस काटा गया है, उन सभी को form 16 जारी किया जायेगा।

लेकिन, जिन एम्प्लाइज का सैलरी पर टीडीएस नहीं काटा गया है, उन एम्प्लाइज को फॉर्म 16 जारी नहीं किया जाता है। हालाँकि, कई कम्पनीज टीडीएस बिना काटे भी फॉर्म 16 जारी कर देती है। (फॉर्म 16 पीडीएफ डाउनलोड )

क्या सैलरी के अलावा टीडीएस काटने पर भी फॉर्म 16 जारी किया जायेगा ?

फॉर्म 16 सिर्फ सैलरी पर टीडीएस काटने के केस में ही जारी किया जाता है। सैलरी के अलावा टीडीएस काटने के केस में दूसरे टीडीएस सर्टिफकेट्स जारी किये जाते है।

जैसे – आपका रेंट की इनकम पर टीडीएस काटा गया है, तो आपको फॉर्म 16 जारी नहीं किया जाकर फॉर्म 16A जारी किया जायेगा।

इन सभी टीडीएस फॉर्म्स और सर्टिफिकेट्स के बारे में जानने के लिए आप टीडीएस फॉर्म्स देख सकते है।

एक एम्प्लोयी के पास एक से अधिक फॉर्म 16 हो सकते है ?

अगर किसी एम्प्लोयी ने एक फाइनेंसियल ईयर में एक से अधिक जगह जॉब की है, तो उसके पास एक से अधिक form 16 हो सकते है।

इस केस में एम्प्लोयी को अपने सभी फॉर्म 16 की डिटेल्स अपनी वर्तमान कंपनी में देनी चाहिए, ताकि कंपनी एम्प्लोयी का सही टीडीएस काट सके।

Form 16 में क्या जानकारी होती है ?

फॉर्म 16 में एम्प्लायर द्वारा सैलरी पर काटे गए और जमा करवाए गए टीडीएस, सैलरी ब्रेकअप, सेक्शन 10 के अलाउंस का ब्रेकअप और इनकम टैक्स डिडक्शन की डिटेल्स रहती है।

इस डिटेल्स को फॉर्म 16 में 2 कंपोनेंट्स में दिखाया जाता है – पार्ट A और पार्ट B .

फॉर्म 16 के पार्ट A की डिटेल्स (what is form 16 in hindi)-
  • एम्प्लायर का नाम और एड्रेस,
  • एम्प्लायर के पैन और TAN नंबर,
  • एम्प्लोयी का नाम और एड्रेस,
  • एम्प्लोयी का पैन नंबर,
  • असेसमेंट ईयर,
  • टाइम पीरियड (जिस पीरियड तक एम्प्लोयी ने काम किया है),
  • सैलरी डिटेल्स,
  • एम्प्लोयी की सैलरी पर काटा गया टीडीएस और गवर्नमेंट को जमा किया गया टीडीएस।
फॉर्म 16 के पार्ट B की डिटेल्स – FORM 16 PART B 

CBDT (सेंट्रल बोर्ड ऑफ़ डायरेक्ट टैक्स ) ने फाइनेंसियल ईयर 2018-19 से फॉर्म 16 के पार्ट B में काफी changes किये है।

Form 16 के पार्ट B में अब एम्प्लायर को एम्प्लोयी के द्वारा क्लेम किये गए सभी allowances की जानकारी देनी होगी। साथ ही इसमें एम्प्लोयी द्वारा ली गयी सेक्शन 80C से 80 U की डिडक्शन की डिटेल्स भी अलग -अलग देनी होगी।




FORM 16 के पार्ट B की डिटेल –

  • प्राप्त हुई gross salary की डिटेल – इसमें सैलरी के ब्रेकअप की भी डिटेल रहेगी, जैसे – प्राप्त सैलरी, value of perquisites, profit in lieu of salary .
  • exempted allowances की डिटेल्स ( HRA, मेडिकल अलाउंस, चिल्ड्रन एजुकेशन अलाउंस )
  • other इनकम की डिटेल्स जो कि एम्प्लोयी द्वारा एम्प्लायर को रिपोर्ट की गयी थी (  हाउस प्रॉपर्टी से इनकम )
  • सेक्शन 80C से 80U की जानकारी ( lic प्रीमियम, ट्यूशन फीस, मेडिकल प्रीमियम, डोनेशन etc.)
  • नेट टैक्सेबल इनकम ( कुल इनकम से डिडक्शन का अमाउंट घटाने के बाद बैलेंस राशि )
  • total tax की डिटेल
  • एजुकेशन सेस और सरचार्ज
  • कुल टैक्स payable
  • सेक्शन 89 की रिलीफ

यदि फॉर्म 16 के पार्ट B में बताई गयी इनकम के अलावा भी एम्प्लोयी की कोई इनकम है तो उसे उस इनकम को भी अपनी इनकम टैक्स रिटर्न में जरूर रिपोर्ट करनी चाहिए।

क्या फॉर्म 16 के बिना भी इनकम टैक्स रिटर्न फाइल की जा सकती है ? – what is form 16 in hindi

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यदि, आपके पास फॉर्म 16 नहीं है तो फिर भी आप अपनी इनकम टैक्स रिटर्न फाइल कर सकते है। इसके लिए सबसे पहले आप अपनी सैलरी स्लिप को चेक करे और उसके हिसाब से अपनी टैक्सेबल इनकम को निकाले।

इसके बाद टीडीएस कटौती को जानने के लिए अपने फॉर्म 26 as को चेक करे। फॉर्म 26as में भी आपकी टैक्सेबल इनकम और काटे गए टीडीएस की जानकारी रहती है। कोई अन्य इनकम जो कि इस फॉर्म में नहीं है, उसको भी ITR में रिपोर्ट करे।

जो भी अलाउंस या डिडक्शन आपको मिलती है, उनको सावधानी के साथ क्लेम करे। इन सभी डिडक्शन के प्रूफ अपने पास संभाल कर जरूर रखे। सबसे अंत में अपने टैक्स का पेमेंट करे या रिफंड जनरेट हो रहा है तो उसको क्लेम करे।

अगर फॉर्म 16 जारी नहीं किया गया है तो क्या आपको इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करना जरुरी है ? (what is form 16 in hindi)

एक एम्प्लायर यदि किसी एम्प्लोयी की सैलरी के पेमेंट पर टीडीएस काटता है, तो उसे फॉर्म 16 जारी करना अनिवार्य है। फॉर्म 16 जारी नहीं करने पर एम्प्लायर पर पेनल्टी लगायी जाएगी।

यदि किसी एम्प्लोयी की सैलरी basic exemption limit से कम है, तो उसका एम्प्लायर उसकी सैलरी पर टीडीएस नहीं काटेगा। इस केस में एम्प्लायर द्वारा कोई फॉर्म 16 जारी नहीं किया जायेगा।

लेकिन, एम्प्लोयी की कोई अन्य इनकम है, जिससे उसकी कुल इनकम basic exemption लिमिट से अधिक हो जाती है, तो उसे अपनी इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करनी जरुरी है।

इसलिए यदि आपको FORM 16 जारी नहीं किया गया है तो भी आपको रिटर्न भरनी पड़ सकती है।

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